प्राचीन भारतीय इतिहास, संस्कृति एवं पुरातत्व विभाग द्वारा व्याख्यान का आयोजन

शासकीय दंतेश्वरी पी० जी० महिला महाविद्यालय, जगदलपुर में दिनांक 07/03/2025 को शोध एवं प्रोत्साहन प्रकोष्ठ के अतंर्गत प्राचीन भारतीय इतिहास, संस्कृति एवं पुरातत्व विभाग द्वारा एक दिवसीय व्याख्यान का आयोजन किया गया। इसमें मुख्य वक्ता के रूप में श्री जी० एल० रायकवार (सेवानिवृत्त) उपसंचालक, संस्कृति एवं पुरातत्व विभाग, रायपुर उपस्थित रहे। इस कार्यक्रम की अध्यक्षता प्रभारी प्राचार्य डॉ. योगेंद्र मोतीवाला एवं डॉ. आशीषधर दीवान प्राचीन भारतीय इतिहास, संस्कृति एवं पुरातत्व द्वारा की गई। इस कार्यकम की शुरुआत सरस्वती माँ की पूजा अर्चना से आरंभ की गई। तत्पश्चात मुख्य अतिथि का संक्षिप्त परिचय डॉ. हेमलता मिंज द्वारा दिया गया। श्री जी० एल० रायकवार जी ने अपने व्याख्यान में सर्वप्रथम बस्तर क्षेत्र की ऐतिहासिक पृष्ठभूमि पर प्रकाश डालते हुए बस्तर की मूर्तिकला पर संक्षिप्त जानकारी दिया. उन्होंने बस्तर जिले के गढ़धनोरा, भोंगापाल और छोटे डोंगर में स्थित विष्णु प्रतिमा, लिंग प्रतिमा, भू-स्पर्श मुद्रा में बुद्ध की प्रतिमा का उल्लेख किया। उन्होंने बस्तर क्षेत्र के मुख्य रूप से तीन राजवंशों नल वंश, छिंदक नागवंश और काकतीय वंश के बारे में बताया। बस्तर संभाग के बारसूर में स्थित ढोलकल गणेश की प्रतिमा सम्पूर्ण भारत में एक ऐसी प्रतिमा है, जिसकी कोई पृष्ठभूमि नही है, जो खुली प्रकृति में पहाड़ की चोटी पर स्थित है। कार्यकम में समस्त प्राध्यापकगण एवं छात्राएँ उपस्थित रहीं। कार्यक्रम का संचालन डॉ. हेमलता मिंज द्वारा किया गया, एवं कार्यक्रम सफलता पूर्वक सम्पन्न हुई.