तुम्हारी जिंदगी मिल गई

premdeep

तुम्हारी जिंदगी मिल गई

मेरे हिस्से में तुम्हारी जिंदगी मिल गई
 मेरी सांसों को नहीं रोशनी मिल गई
अंधेरों का खौफ अब रहा नहीं मुझको
चांद तारों से भरी ये जमीन मिल गई
चलेंगे साथ हम उस ज़हान के लिए
जददो जहद की जहां कोई  गाली न मिले